लाखों में इंतिख़ाब के क़ाबिल बना दिया जिस दिल को तुमने देख लिया दिल बना दिया पहले कहाँ ये नाज़ थे, ये इश्वा-ओ-अदा दिल को दुआएँ दो तुम्हें क़ातिल बना दिया ****